बलि पर विवाद होना अनुचित है।
"अघोरा" नामक किताब में एक घटना आती है कि जब विमलानंद जी मां शमशान तारा को अपने घर में बुलाते हैं मंत्र जाप के द्वारा तो आने पर वह कहती है कि अगर तुमने मुझसे दोबारा मिलना है तो तुम्हें शमशान में जाकर इस मंत्र का जाप करना होगा तब मैं तुमसे मिलने आऊंगी||
ऐसा कहने के पीछे मूल उद्देश्य यह था कि हर देवी देवता एक विशेष प्रकार की ऊर्जा को धारण किए रहता है और वह ऊर्जा एक विशेष स्थान पर ही प्राप्त होती है।
जैसे कि शमशान तारा को शमशान में फैली ऊर्जा ही उचित लगती है इसीलिए वह वहां ही निवास करती है और किसी के घर में वह नहीं जाती और इसका एक और कारण यह भी है कि हर देवी देवता अपने साथ अपने गण साथ लेकर चलते हैं और वह कई प्रकार की ऐसी शक्तियां होती है जिनको शायद हम महान साधक होने के बाद भी संभाल ना पाए l
इसी तरह विभिन्न देवी देवता के लिए पूजा पद्धति विभिन्न प्रकार की होती है। जैसे भगवान शिव को हम शिवलिंग के रूप में पूजते हैं उसी तरह कई देवी देवता तांत्रिक मार्ग में विशेष विधियों के द्वारा ही पूजित होते हैं और उनमें कुछ ऐसी प्रक्रियाएं पालन होती है जो जनमानस में सही नही|